बिहार की राजनीति में इन दिनों सबसे बड़ा सवाल यह है कि आने वाले विधानसभा चुनाव में एनडीए की ओर से मुख्यमंत्री पद का चेहरा कौन होगा। जहां राजनीतिक गलियारों में तमाम तरह की अटकलें लगाई जा रही थीं, वहीं मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के बेटे निशांत कुमार ने इस बहस पर विराम लगाने की कोशिश की है।
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के बेटे निशांत कुमार ने मीडिया से बातचीत में स्पष्ट किया कि आने वाले विधानसभा चुनाव में एनडीए की ओर से सीएम का चेहरा वही होंगे, यानी नीतीश कुमार ही एक बार फिर मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार होंगे। उन्होंने कहा, “इस मुद्दे पर कोई भ्रम नहीं है। उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी भी पहले ही स्पष्ट कर चुके हैं कि अगले पांच वर्षों तक नीतीश जी के नेतृत्व में ही सरकार चलेगी।”
निशांत ने एनडीए की संभावित जीत पर भरोसा जताते हुए कहा कि गठबंधन 225 से ज्यादा सीटों पर कब्जा करेगा। हालांकि जब उनसे पूछा गया कि क्या वे भी सक्रिय राजनीति में कदम रखने जा रहे हैं, तो उन्होंने इस सवाल को टाल दिया।
नीतीश कुमार की सेहत पर उठ रहे सवालों पर भी निशांत ने प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा, “पिता जी पूरी तरह स्वस्थ हैं। उनकी तबीयत को लेकर जो भी बातें कही जा रही हैं, वे बेबुनियाद हैं।”
यह बयान ऐसे समय आया है जब हाल ही में हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी के एक कथन ने राजनीतिक हलकों में हलचल मचा दी थी। उन्होंने कहा था कि बिहार में चुनाव सम्राट चौधरी के नेतृत्व में लड़ा जाएगा। इस बयान के बाद बिहार बीजेपी को सफाई देनी पड़ी। सम्राट चौधरी और बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष दिलीप जायसवाल दोनों ने सार्वजनिक तौर पर कहा कि एनडीए का चेहरा नीतीश कुमार ही होंगे।
एनडीए के भीतर समन्वय बनाए रखने और नेतृत्व को लेकर भ्रम दूर करने की ये कोशिशें आने वाले चुनाव के लिहाज से महत्वपूर्ण मानी जा रही हैं। विशेषकर तब, जब विपक्ष महागठबंधन के तहत खुद को मजबूत करने में जुटा है।