मुंगेर जिले में दो अलग-अलग रेल हादसों में एक महिला की दर्दनाक मौत हो गई, जबकि एक व्यक्ति गंभीर रूप से घायल हो गया और उसने अपने दोनों पैर खो दिए। ये घटनाएं जिले के धरहरा और अभयपुर रेलवे स्टेशन के पास हुईं।
पहली घटना: मानसिक रूप से विक्षिप्त महिला की ट्रेन से कटकर मौत
प्राप्त जानकारी के अनुसार, मानसिक रूप से विक्षिप्त महिला अवंती देवी, जो कि मुंगेर जिले के धरहरा चौहान टोला की रहने वाली थी, कल शाम से ही अपने घर से लापता थी। परिजन उसकी तलाश कर रहे थे, लेकिन वह कहीं नहीं मिली। सुबह जब ग्रामीणों ने धरहरा के पास जमालपुर – क्यूल रेलखंड पर एक महिला का शव पड़ा देखा, तो तुरंत इसकी सूचना परिजनों को दी। परिजन मौके पर पहुंचे और शव की पहचान अवंती देवी के रूप में की। इसके बाद घटना की जानकारी स्थानीय जीआरपी (Government Railway Police) को दी गई। सूचना मिलते ही जीआरपी की टीम घटनास्थल पर पहुंची और शव को अपने कब्जे में ले लिया। इसके बाद पोस्टमार्टम के लिए शव को मुंगेर सदर अस्पताल भेज दिया गया। महिला की इस दर्दनाक मौत से उसके परिवार में कोहराम मच गया। परिजन बदहवास हो गए और रो-रोकर बेहाल थे। स्थानीय लोगों के अनुसार, अवंती देवी मानसिक रूप से अस्वस्थ थी और पहले भी कई बार घर से लापता हो चुकी थी, लेकिन इस बार वह घर लौट नहीं सकी और उसकी मौत हो गई।
दूसरी घटना: ट्रेन से कटकर 35 वर्षीय व्यक्ति गंभीर रूप से घायल
मुंगेर जिले में दूसरी दर्दनाक घटना अभयपुर रेलवे स्टेशन के पास हुई। यहां रामपुरहाट-गया पैसेंजर ट्रेन की चपेट में आने से 35 वर्षीय हरि ओम गंभीर रूप से घायल हो गए। हादसा इतना भयानक था कि हरि ओम के दोनों पैर कट गए। स्थानीय लोगों और रेलवे कर्मियों ने तुरंत इस घटना की सूचना हरि ओम के परिजनों को दी। परिजन मौके पर पहुंचे और तुरंत घायल अवस्था में उन्हें इलाज के लिए मुंगेर सदर अस्पताल लेकर गए। अस्पताल में डॉक्टरों की टीम उनका इलाज कर रही है और उनकी हालत गंभीर बनी हुई है।
हादसे के कारणों की जांच जारी
दोनों घटनाओं के कारणों की अभी तक स्पष्ट जानकारी नहीं मिल पाई है। स्थानीय पुलिस और रेलवे प्रशासन मामले की जांच कर रहे हैं। पहली घटना में मानसिक रूप से विक्षिप्त महिला के रेल ट्रैक पर कैसे पहुंची, यह स्पष्ट नहीं हो पाया है। वहीं, दूसरी घटना में हरि ओम ट्रेन की चपेट में कैसे आए, यह भी जांच का विषय बना हुआ है।
रेलवे ट्रैक पर सुरक्षा को लेकर बढ़ी चिंता
इन दोनों घटनाओं ने रेलवे ट्रैक पर सुरक्षा को लेकर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। कई बार मानसिक रूप से अस्वस्थ व्यक्ति या असावधान लोग रेलवे ट्रैक पर चले जाते हैं, जिससे ऐसे दर्दनाक हादसे हो जाते हैं। स्थानीय प्रशासन और रेलवे विभाग को इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए सख्त कदम उठाने की जरूरत है।
स्थानीय लोगों में दहशत, परिवारों में शोक
इन घटनाओं के बाद से क्षेत्र के लोगों में दहशत का माहौल है। खासकर अवंती देवी की मौत से ग्रामीणों में शोक की लहर है। परिजन अपने खोए हुए सदस्य के लिए बिलख रहे हैं। वहीं, हरि ओम के परिवार पर भी दुखों का पहाड़ टूट पड़ा है।
रेलवे प्रशासन से सुरक्षा उपायों की मांग
स्थानीय लोगों ने रेलवे प्रशासन से अनुरोध किया है कि ट्रेनों की गति को आबादी वाले इलाकों में नियंत्रित किया जाए और रेलवे ट्रैक के पास सुरक्षा उपायों को बढ़ाया जाए। साथ ही, मानसिक रूप से अस्वस्थ लोगों के लिए प्रशासन को जागरूकता अभियान चलाने की जरूरत है, ताकि इस तरह की घटनाओं को रोका जा सके। इन दोनों घटनाओं ने पूरे जिले को झकझोर कर रख दिया है। अब देखना होगा कि रेलवे प्रशासन और स्थानीय प्रशासन इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए क्या कदम उठाते हैं।